30 अगस्त को शाम 6 बजकर 34 मिनट पर बुध ग्रह वक्री होकर कन्या राशि में प्रवेश कर लिया है। वक्री होकर ही वह 9 सितंबर को सिंह राशि में दाखिल होगा। बुध की यह दशा 22 सितंबर तक रहेगी। 22 सितंबर को 11 बजकर 1 मिनट पर वह फिर से मार्गी हो जायेगा। ऐसे में बुध का कन्या और सिंह राशि में वक्री होना अन्य राशियों को कैसे प्रभावित करेगा आइये जानते हैं।
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मेष – मेष राशि के लिये बुध का वक्री होना बिल्कुल भी शुभ नहीं है विशेषकर स्वास्थ्य के लिहाज से। जब तक यह कन्या में वक्री रहेगा, मेष जातकों को स्वास्थ्य के प्रति सचेत रहना होगा, रोग उतपन्न होने की संभावना है। वहीं खर्चों में बढ़ोतरी व मानसिक तनाव पैदा होने के आसार भी नजर आ रहे हैं। लेकिन जब 9 सिंतबर को वक्री बुध, सिंह राशि में दाखिल होगा तो मेष जातक राहत महसूस कर सकते हैं। अपने जीवन के हर क्षेत्र में कुछ सकारात्मक परिवर्तन होने की उम्मीद कर सकते हैं। वक्री बुध के नकारात्मक प्रभावों से बचने का उपाय आप विद्वान ज्योतिषाचार्यों से परामर्श कर जान सकते हैं।
वृष - शैक्षणिक मामलों में तो बुध का वक्री होकर कन्या में दाखिल होना वृष जातकों के लिये बहुत ही शुभ माना जा सकता है, साथ ही मान-सम्मान मिलने की भी प्रबल संभावनाएं हैं। संतान पक्ष की ओर से कोई शुभ समाचार मिल सकता है। वहीं जब यह वक्री अवस्था में सिंह में प्रवेश करेगा तो माता के स्वास्थ्य के प्रति थोड़ा सचेत रहने की आवश्यकता होगी। वक्री बुध कहीं आपको नुक्सान न पंहुचा दे इसलिये विद्वान ज्योतिषाचार्यों से परामर्श अवश्य कर लें।
मिथुन – साझेदारी यानि पार्टनरशिप के मामलों में थोड़ा सचेत रहें। भूमि संबंधी लेन-देन में लाभ मिलने के आसार हैं। आर्थिक तौर भी बुध की यह दशा आपके लिये लाभकारी रहने की उम्मीद है। लेकिन स्वास्थ्य के प्रति थोड़ा सजग रहें। कुल मिलाकर मिला-जुला असर आप पर रहने की संभावना है। लेकिन जैसे ही यह सिंह में वक्री अवस्था में ही दाखिल होगा आपको अपने छोटे भाई-बहनों की चिंता सता सकती है। लेकिन आपके पराक्रम में वृद्धि होगी। आकस्मिक यात्रा के भी योग हैं जिसमें यात्रा के उद्देश्य का आपको विशेष ध्यान रखने की आवश्यकता होगी। आपकी यात्रा कैसे मंगलमय हो सकती है? वक्री बुध के नकारात्मक प्रभाव से कैसे बचा जा सकता है जानने के लिये परामर्श करें विद्वान ज्योतिषाचार्यों से। एस्ट्रोयोगी पर आप कर सकते हैं देश भर के जाने-माने ज्योतिषाचार्यों से परामर्श।
कर्क – परिजनों के साथ संबंध मधुर होंगें, भाई-बहनों के प्रति भी प्रेम बढ़ेगा। यात्रा के योग भी बनेंगें जो कि सफल होगी। विशेषकर दक्षिण दिशा में यात्रा करने के अवसर आपको सुलभ होंगे। जैसे ही वक्री बुध कन्या से सिंह में दाखिल होगा कर्क जातकों के लिये धन प्राप्ति के योग बनेंगें और आर्थिक स्थिति मजबूत होगी। यदि आप बुध के सकारात्मक परिणामों का पूरा लाभ पाना चाहते हैं तो विद्वान ज्योतिषाचार्यों से परामर्श करें।
सिंह – आपके लिये बुध का कन्या में वक्री होना शुभ माना जा सकता है, आपकी प्रतिष्ठा में वृद्धि होने के आसार बनेंगें, धन प्राप्ति की संभावनाएं भी हैं। अनपेक्षित धन प्राप्ति हो सकती है विशेषकर जहां से धन वापसी की उम्मीद लगभग आप समाप्त कर चुकें हैं वो पैसा भी आपको मिल सकता है। आपकी वाणी में मधुरता और व्यवहार में संयम बने रहने के आसार भी हैं। लेकिन जैसे ही वक्री बुध 9 सितंबर को आपकी राशि में दाखिल होगा आपके जीवन में कुछ नकारात्मक परिवर्तन भी शुरु हो सकते हैं। स्वास्थ्य में हानि होने के आसार बनेंगें, क्रोध पर नियंत्रण रखना होगा अन्यथा आपके संबंधों में भी कड़वाहट पैदा हो सकती है। लेकिन करियर और व्यवसाय के लिहाज से यह समय भी आपके लिये शुभ रहेगा। वक्री बुध के नकारात्मक प्रभावों से बचने का उपाय आप विद्वान ज्योतिषाचार्यों से परामर्श कर जान सकते हैं।
कन्या – चूंकि बुध कन्या का स्वामी है जैसे ही यह आपकी राशि में वक्री होगा आपको अपने स्वास्थ्य में सुधार महसूस होगा। आपके मनोबल में भी वृद्धि होगी। अपने अंदर एक नई ऊर्जा, एक नये उत्साह को आप महसूस कर सकते हैं। रोजगार के नये अवसर मिलने की संभावनाएं भी आपके लिये हैं। लेकिन जैसे ही यह सिंह में दाखिल होगा तो स्वास्थ्य और वित्तीय रुप से आपको हानि भी उठानि पड़ सकती है। मन से विचलित भी हो सकते हैं, और किसी के साथ विवाद में भी फंस सकते हैं। ऐसे में आपके लिये बेहतर है कि संयम से काम लें, आवेश पर काबू रखें, यदि कहीं साक्षात्कार पर जा रहे हैं तो अच्छी तैयारी के साथ जायें। वक्री बुध के हानिकारक प्रभावों से बचने के लिये जानें ज्योतिषाचार्यों से समाधान।
तुला – तुला जातकों के लिये बुध का कन्या में वक्री होना भाग्य की हानि लेकर आ सकता है, हो सकता है आपका बना-बनाया काम भी बिगड़ जाये। किसी अपने की तरफ से आपको कोई अशुभ समाचार भी मिल सकता है। साथ ही अपने जीवनसाथी के स्वास्थ्य को लेकर भी आप चिंतित हो सकते हैं। लेकिन जैसे ही यह सिंह में वक्री होकर दाखिल होगा आपको सकारात्मक परिवर्तनों की आहट महसूस होगी, व्यवसाय में लाभ होने के आसार हैं हालांकि आपके खर्चों में बढ़ोतरी होगी लेकिन आपकी आमदनी में भी ईजाफा होगा। भाग्योन्नति के साथ-साथ शैक्षणिक मामलों में भी लाभ मिलने के आसार हैं। वक्री बुध दे तो रहा है हानि, लेकिन दूर हो सकती है परेशानी कैसे? जानने के लिये परामर्श करें विद्वान ज्योतिषाचार्यों से।
वृश्चिक – आपको बुध के कन्या में वक्री होने से लाभ की प्राप्ति होगी, यदि स्वास्थ्य संबंधी परेशानियां झेल रहे हैं तो राहत महसूस करेंगें, प्रेम जीवन में साथी का भरपूर सहयोग आपको मिलेगा। जब वक्री बुध सिंह में दाखिल होगा तो भी आपके लिये यह अच्छा रहने के आसार हैं। इस समय आप अपने कारोबार में उन्न्ति को देख सकते हैं, निवेश करने से लाभ मिलने के आसार हैं। साथ ही रोजगार के मामले में भी आपको शुभ समाचार मिल सकते हैं। यदि आप बुध के सकारात्मक परिणामों का पूरा लाभ पाना चाहते हैं तो विद्वान ज्योतिषाचार्यों से परामर्श करें।
धनु – व्यक्तिगत और व्यावसायिक जीवन में बुध का वक्री होना आपके लिये लाभदायक है। इस समय आपके कारोबार में वृद्धि होने की पूरी-पूरी संभावनाएं हैं लेकिन किसी परिजन विशेषकर माता के स्वास्थ्य की ओर से आपको सचेत रहने की आवश्यकता होगी। जैसे ही वक्री बुध सिंह में प्रवेश करेगा तो यह आपके भाग्य में भी वृद्धि करेगा, संतान पक्ष की ओर से तो यह बहुत ही भाग्यशाली हो सकता है। छोटे भाई-बहनों के प्रति भी आपका प्रेम प्रगाढ़ होने के आसार हैं। वक्री बुध के नकारात्मक प्रभावों से बचने का उपाय आप विद्वान ज्योतिषाचार्यों से परामर्श कर जान सकते हैं।
मकर – धर्म कर्म के मामलों में आपकी रुचि बढ़ने के आसार हैं साथ ही बुध का कन्या में वक्री होना आपके भाग्य में उन्नति लेकर आ सकता है। नई चेतना और एक नई ऊर्जा से आप अपने लक्ष्यों को हासिल करेंगें। लेकिन वक्री बुध के सिंह में दाखिल होते ही आपकी परेशानियां बढ़नी आरंभ हो जायेंगी। शारीरिक रुप से भी आपको कष्ट सहना पड़ सकता है विशेषकर जोड़ संबंधी दर्द उभर सकते हैं। रीड की हड्डी संबंधी दिक्कतों के प्रति भी सचेत रहें। वक्री बुध के नकारात्मक प्रभाव से कैसे बचा जा सकता है जानने के लिये परामर्श करें विद्वान ज्योतिषाचार्यों से। एस्ट्रोयोगी पर आप कर सकते हैं देश भर के जाने-माने ज्योतिषाचार्यों से परामर्श।
कुंभ – बुध का कन्या राशि में वक्री होना आपके लिये शुभ नहीं कहा जा सकता। इस समय आपको अपनी परेशानियां बढ़ती हुई नजर आ सकती हैं। स्वास्थ्य के प्रति सचेत रहें, संक्रमित रोग होने के भी आसार हैं। प्यार में भी आपको धोखा मिल सकता है। जीवनसाथी की भावनाओं का खयाल रखें अन्यथा अनबन हो सकती है। इसके बाद जब वक्री बुध सिंह में दाखिल होगा तो आपको आर्थिक तंगी का सामना भी करना पड़ सकता है जिसके फलस्वरुप घर-गृहस्थी में भी तनाव हो सकता है। संतान के स्वास्थ्य को लेकर भी आपकी चिंताएं बढ़ सकती हैं। वक्री बुध के हानिकारक प्रभावों से बचने के लिये जानें ज्योतिषाचार्यों से समाधान।
मीन – आपको अपने स्वास्थ्य का विशेष ध्यान रखने की आवश्यकता है बुध का कन्या में वक्री होना आपके स्वास्थ्य को बिगाड़ सकता है लेकिन कारोबार के मामलों में यह आपका साथ देगा, संपत्ति के लेन-देन में मुनाफा मिलने के आसार हैं। नई योजनाओं में निवेश करना भी आपके लिये काफी लाभदायक हो सकता है। कुल मिलाकर आपकी आर्थिक स्थिति पहले से बेहतर होने के आसार हैं। लेकिन जैसे ही वक्री बुध सिंह में आयेगा आपके लिये अपना स्वास्थ्य एक चुनौति बन सकता है। इसकी पूरी संभावना है कि आप किसी संक्रमित रोगाणु की चपेट में आ जायें। आपके शुत्र भी इस दौरान बढ़ सकते हैं। इसके साथ-साथ जीवन साथी का स्वास्थ्य भी खराब हो सकता है। आकस्मिक यात्राओं के योग भी बनेंगें लेकिन ज्यादा यात्राएं करने से बचें तो बेहतर हैं। वक्री बुध कहीं आपको नुक्सान न पंहुचा दे इसलिये विद्वान ज्योतिषाचार्यों से परामर्श अवश्य कर लें।
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