आज हम अपने परिवार को कम समय देते हैं लेकिन ऑफिस में देर रात तक रूक कर अधिक काम करते हैं। ऐसा क्यों और किस के लिए हम कर रहे हैं? जवाब घर परिवार की सुख शांति के लिए। क्या वाकई में आपके घर व जीवन में मन मुताबिक सुख शांति है? जवाब ज्यादातर ना में ही होगा। पीस ऑफ माइन्ड नाम की भी कोई चीज है। जो आपके जीवन में नहीं, यह क्यों नहीं है और किस वजह से नहीं है यह जानने बात करें एस्ट्रोयागी एस्ट्रोलॉजर से। क्योंकि इसका होना भी उतना ही जरूरी है जितना कि घर की शांति का। आप माने या ना माने लेकिन इसका सीधा संबंध आपके ग्रह नक्षत्रों से है यानी की ज्योतिष से है। इसलिए आज हम आपके इस प्रश्न का उत्तर यहां देने की कोशिश कर रहे हैं। तो आइए जानते हैं क्या कहना है ज्योतिषियों का इस प्रश्न पर और ज्योतिष का कैसे सीधा कनेक्शन है आपकी घर की सुख शांति से।
आज की भाग दौड़ भरे जीवन में हम और आप भौतिक उपलब्धियों की ओर अधिक आकर्षित हैं। अपनी इच्छाओं को पूरा करने के लिए हम दिन रात परिश्रम करने के लिए भी तैयार हैं और करते भी हैं। लेकिन यहां हमें रूक कर सोचने की जरूरत है कि जिस शांति व सुख के लिए हम अथक परिश्रम कर रहे हैं क्या वह आपको मिली? उपलब्धियों को हासिल करने बाद भी क्या आपको शांति मिली? यदि जवाब ना है तो क्यों नहीं मिली, किस वजह से आपको आपके मन मुताबिक परिणाम नहीं मिल पा रहा है ? कौन है जो आपकी उपलब्धियों का जाया कर रहा है? जानने के लिए अभी बात करें देश के प्रसिद्ध ज्योतिषाचार्यों से। घर परिवार में सब ठीक है ऐसा आपको लगता है लेकिन मन में बेचैनी है। ऐसा क्यों है इस पर आप जवाब नहीं दे पाएंगे। लेकिन क्या आपने कभी यह जानने की कोशिश कि की आपकी मन की शांति के लिए आपको आपके काम के हिसाब से लाभ मिलना चाहिए। लेकिन नहीं मिलता है। कहते हैं घर की सुख शांति के लिए पर्याप्त धन होना भी आवश्यक है। यदि आप अपने आर्थिक पक्ष मजबूत करना है तो अपनाएं ये उपाय।
धनवान होने के बावजूद भी आपके घर में क्यों सुख शांति नहीं है। इसका एक कारण यह भी हो सकता है कि आपका मन शांत नहीं है। इस पर ज्योतिषियों का मत है कि जातक यदि धन संपदा से परिपूर्ण है और फिर भी उसके घर में सुख शांति नहीं है। तो इसका मतलब है कि जातक की कुंडली में ग्रहों की स्थिति ठीक नहीं है। ज्योतिषियों का मानना है कि हर ग्रह का व्यक्ति के जीवन पर सीधा असर पड़ता है। अगर आपकी कुंडली में सुख का कारक ग्रह सही स्थिति में है तो आपको सुख की प्राप्त होगी। जीवन में सुख शांति बनी रहेगी। परंतु यही ग्रह किसी गलत स्थिति में हो तो यह उचित फल नहीं दे पाता है। जिसके चलते आपके घर परिवार से सुख शांति चली जाती है। इसलिए इसका सही स्थान पर होना आवश्यक है। यदि ग्रह सही जगह पर है फिर भी उचित फल नहीं दे रहा है तो हो सकता है कि ग्रह मृत अवस्था में हो। यदि ऐसा है तो इस स्थिति में भी ग्रह अच्छा परिणाम नहीं दे पाएगा। इसलिए इसका सही स्थान व प्रभावी अवस्था में होना जरूरी है। यदि आप जानना चाहते कि आपकी कुंडली में सारे ग्रह सही स्थान पर हैं या नहीं, तो अभी परामर्श करें, एस्ट्रोयोगी पर इंडिया के बेस्ट एस्ट्रोलॉजर से।
ज्योतिष शास्त्र के अनुसार हर ग्रह का काम व दायित्व निर्धारित किया गया है। ये सभी ग्रह अपनी शक्ति व स्थिति के आधार पर ही फल देते हैं। यही नियम सामान्य तौर पर सुख के कारक ग्रह माने जाने वाले शुक्र पर भी लागू होता है। ज्योतिषियों का मानना है कि शुक्र के प्रभाव से ही जातक के जीवन में सुख समृद्धि आती है। यदि शुक्र कुंडली में अपने सही स्थान पर विद्धमान है और प्रभावी है तो यह जीवन में हर तरह का सुख देने वाला बन जाता है। परंतु शुक्र की स्थिति या दशा बिगड़ जाए तो उचित फल नहीं मिलेगा। इसके साथ ही यदि किसी पाप ग्रह का शुक्र पर दृष्टि पड़ रहा है तो शुक्र की शक्ति कम हो जाएगी जिससे ये कमजोर पड़ जाएगा और शुक्र से आपको लाभ नहीं होगा। क्या है आपकी कुंडली में सुख का कारक ग्रह सही स्थिति में? जानने के लिए बात करें देश के जाने माने ज्योतिषाचार्यों से और जाने ग्रह की शांति के लिए ज्योतिष शास्त्र में मौजूद उपाय। जिसे अपना कर आप अपने घर में दोबारा सुख शांति की स्थापना कर सकते हैं।