क्या आपको आपके जिगर के टुकड़े की भविष्य की चिंता सता रही है? क्या आप जानना चाहते हैं कि कैसा रहने वाला है आपके बच्चे का भविष्य? जीवन में कितना करेगा तरक्की? शिक्षा के लिए कौन सा क्षेत्र होगा बच्चे के लिए उचित? तो आपको यह लेख पूरा पढ़ना चाहिए। क्योंकि आज में इस लेख में आपके इन्हीं सवालों का उत्तर देने जा रहे हैं।
इसमें दो राय नहीं है कि हर माता-पिता अपने बच्चे के भविष्य को सुरक्षित रखना चाहते हैं। उसके लिए वो सब कुछ करते हैं जिससे उनके बच्चे का भविष्य बेहतर हो। परंतु आपने देखा होगा कि सारी सुख सुविधाओं के बावजूद बच्चे भटक जाते हैं। उनका मन उनके पढ़ाई में नहीं लगता है। जिसके चलते वे अन्य बच्चों के मुकाबले पीछे रह जाते हैं। ऐसा क्यों होता आपने कभी इस बात पर गैर किया है? जहां तक है इस सवाल का जवाब न में ही होगा। यदि आपको लगता है कि इसमें आपके बच्चे का दोष है तो आपको एक बार ठहर कर विचार करना चाहिए। क्या वाकई में आपका संतान अयोग्य है या वो जिस क्षेत्र में है वो उसके लिए ठीक नहीं है। हो सकता है कि आपको जवाब मिल जाए। परंतु अगर आप इसे पहले ही जान लें और अपने जिगर के टुकड़े की परवरिश उसके गुण, अगुण, योग्यता व अयोग्यता के आधार पर करें तो सोचो कितना अच्छा होगा। हो सकता है कि आपके बच्चे को कभी असफलता का मुंह देखना ही न पड़े ! आपके मन में सवाल उठ रहा होगा क्या वाकई में ऐसा हो सकता है? हम आपको बता दें कि ऐसा हो सकता है। इस के लिए आपको ज्योतिषियों के मार्गदर्शन की आवश्यकता होगी। क्योंकि वही हैं जो आपको बता सकते हैं कि आपकी संतान कैसी होगी। तो आइये जानते हैं कि ज्योतिष कैसे आपकी सहायता कर सकते हैं।
ज्योतिष व मनुष्य का संबंध बहुत ही पुराना है। लेकिन आज के आधुनिक दौर में इस पर और भी मोटी परत चढ़ती जा रही है। जिसके चलते हम ज्योतिष की महत्ता को भूलते जा रहे हैं। खैर हम बात कर रहे थे ज्योतिष कैसे आपकी संतान के भविष्य के बारे में आपको बता सकते हैं। इसके लिए ज्यातिषाचार्य को आपके बच्चे की जन्म कुंडली बनानी होगी। जिसके लिए आपको अपने बच्चे के जन्म से जुड़े कुछ जानकारी उपलब्ध करानी होगी। जिससे ज्योतिषाचार्य आपके बच्चे की कुंडली बना पाएंगे। इसी का आकलन कर आपके उन सभी प्रश्नों के उत्तर देंगे। जिनका जवाब आप जानना चाहते हैं। कहते हैं कि यदि कुंभार शुरूआत में ही मिट्टी के गुण को पहचान कर उसे उपयोग में न लाए तो इसके द्वारा बनाया गया बर्तन किसी काम का नहीं होगा। उसी तरह यदि बच्चे के जन्म के बाद ही माता-पिता अपने संतान के गुण व अवगुण के बारे में जान लें तो वे अपने बच्चे का भविष्य अच्छे से बना सकते हैं। यदि आप के मन में अपने बच्चे को लेकर कोई शंका है तो उसका समाधान आप एस्ट्रोयोगी एस्ट्रोलॉजर से बात कर पा सकते हैं। अभी बात करने के लिए लिंक पर क्लिक करें।
दरअसल ज्योतिषाचार्य आपके बच्चे के जन्म के समय सौर मंडल में ग्रह नक्षत्रों की क्या स्थिति थी इसके आधार पर किसी भी जातक के व्यक्तित्व के बारे में पता लगाते हैं। ज्योतिषियों का कहना है कि हमारे जीवन पर अंतरिक्ष में मौजूद ग्रहों व नक्षत्रों का सीधा प्रभाव पड़ता है। जो हमारे स्वभाव व गुणों को निर्धारित करते हैं। इसके साथ ही ये हमारे जीवन से जुड़े हर पहलू को किसी न किसी रूप में प्रभावित करते हैं। जिसके चलते हमारे कई सपने अधूरे रह जाते हैं। परंतु ज्योतिषियों का मानना है कि कुंडली के आधार पर कोई का किया जाए तो उसमें सफल होने की संभावना बढ़ जाती है। क्योंकि इसमें हमारे ग्रहों दशा व दिशा हमारी सहायता करती हैं।