जिंदगी में जब बात भाग्य और मेहनत की आती है तो आमतौर पर टेक्नोलॉजी के युग में अधिकांश लोग मेहनत पर विश्वास करते हैं उनके लिए लक या भाग्य कोई मायने नहीं रखता है। आज के युग में लोगों का मानना है कि मेहनत करो भाग्य खुद ही साथ देगा, लेकिन एक कहावत है "समय से पहले और भाग्य से ज्यादा किसी को कुछ भी नहीं मिलता है।" हम चाहे कितने भी मॉर्डन हो जाएं लेकिन इंटरव्यू देने जाते हैं तो अपनी लकी शर्ट पहनकर ही जाते हैं ताकि सेलेक्शन के चांसेंज बढ़ जाएं। वहीं जब कोई परीक्षा देने जाते हैं तो ध्यान से उसी पेन को लेकर जाते हैं जिसने आपको कभी न कभी टॉपर या परीक्षा में सफल बनाया होगा। हां माना कि आप आधुनिक युग में रहते हैं जहां पर इस तरह के अंधविश्वासों की कोई जगह नहीं है। वहीं अगर बात लकी चार्म की जाए तो शायद आप इन बातों को बकवास ही समझेंगे।
ज्योतिष की माने तो लकी चार्म या गुड लक मनुष्य की राशि के अनुसार ही निर्धारित किया जाता है। यह ग्रह और नक्षत्रों की चाल पर निर्भर करता है। इसी के आधार पर लकी नंबर, लकी कलर एस्ट्रोलॉजर्स द्वारा बताया जाता है। वैसे तो हमारी जिंदगी में कोई वस्तु और व्यक्ति विशेष ऐसा होता है, जो हमारे लिए लकी होता है। लेकिन हम ध्यान नहीं दे पाते हैं और उसके आसपास होने से आपके बिगड़े काम बन जाते हैं और आप सकारात्मक ऊर्जा महसूस करते हैं। आप आमआदमी की क्या बात कर रहे हैं, बॉलीवुड से लेकर खेल जगत तक के सेलिब्रिटीज़ तक लकी चार्म यानि गुड लक को मानते हैं और उसे शिद्दत से निभाते भी हैं। इसी पर डायरेक्टर अभिषेक शर्मा और Fox Star Studio ने लकी चार्म पर आधारित फिल्म द जोया फैक्टर बनाई है, जो 20 सितंबर को रिलीज होने वाली है। इस फिल्म में लीड रोल सोनम कपूर और दुलकर सलमान निभा रहे हैं। इस फिल्म की पटकथा अनुजा चौहान की किताब द जोया फैक्टर पर आधारित है। इस फिल्म की कहानी में साधारण सी लड़की का विश्वकप जीतने में लकी चार्म बनने तक के सफर को दर्शाया गया है।
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अब जब बात लकी चार्म की हुई है तो बॉलीवुड सेलेब्स के लकी चार्म के बारे में बताना तो बनता है। सबसे पहले बॉलीवुड के महानायक अमिताभ बच्चन से ही शुरुआत करते हैं, जो आज तक अपने पिता की दी हुई घड़ी ही पहनते हैं क्योंकि वह उसको लकी चार्म मानते है। वहीं बॉलीवुड के दबंग खान यानि सलमान खान हमेशा अपने हाथ में चमकने वाला फिरोजा (Turquoise) ब्रेसलेट पहने रहते हैं, क्योंकि उनका यह ब्रेसलेट गुड लक है। इतना ही नहीं बॉलीवुड के सिघंम यानि अजय देवगन रत्न और अंक ज्योतिष पर बहुत विश्वास करते हैं, वहीं बात टीवी इंडस्ट्री की क्वीन और गॉडमदर कही जाने वाली एकता कपूर के बारे में करते हैं, जो गुड लक और बैड लक पर इतना विश्वास करती हैं कि अपनी 10 अंगुलियों पर अंगूठियां पहने रहती हैं और उनके अधिकतर डेली शोज़ के नाम K से शुरु होते हैं क्योंकि वह K को अपना लकी चार्म मानती हैं, वहीं फिल्मों के नाम पर इस तरह का अंधविश्वास डायरेक्टर करण जौहर भी रखते हैं। अगर आप ध्यान दें तो करण की ज्यादातर फिल्में K अक्षर से ही शुरु होती हैं।
फिल्म द जोया फैक्टर की कहानी क्रिकेट और लकी चार्म से जुड़ी हुई है। ऐसे में क्रिकेटर्स के लकी चार्म की बात न करना क्रिकेट की तौहीन के जैसा होगा तो चलिए शुरुआत क्रिकेट के भगवान सचिन तेंदुलकर से ही करते हैं, जो हमेशा मैच के दौरान अपने भाई द्वारा दिए गए दाएं पैर के पैड को ही पहना करते थे। वहीं मैच के दौरान भारतीय टीम के पूर्व कप्तान एमएस धोनी हमेशा 7 नंबर वाली ही जर्सी पहनते हैं, पूर्व क्रिकेटर सौरव गांगुली और वीरेंद्र सहवाग लाल रुमाल को लकी चार्म मानते हैं। ऐसे कई दिग्गज और जाने-माने लोग हैं, जो लकी चार्म के बिना घर से बाहर तक नहीं निकलते हैं।
आमतौर पर लकी चार्म को अंधविश्वास ही माना जाता है, लेकिन इस बात को विज्ञान तक ने माना है। मनोवैज्ञानिकों का कहना है कि प्रत्येक वस्तु से कोई न कोई एनर्जी अवश्य निकलती है, जो ब्रह्मांड में फैलती है। किसी से सकारात्मक ऊर्जा का संचार होता है तो किसी से नकारात्मक ऊर्जा का वैसे तो लकी चार्म का मतलब सकारात्मक ऊर्जा से भरपूर और आशावादी होने से है, सही मायने में जिस वस्तु से या जिस व्यक्ति से आपको पॉजीटिव एनर्जी मिलती है, जिसकी वजह से आपका आत्मविश्वास बढ़ जाता है और आपके सफलता के अवसर अधिक बढ़ जाते हैं और आपको सफलता मिल भी जाती है तो आप उसे अपना लकी चार्म मान लेते हैं।
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