नवग्रहों में बृहस्पति ग्रह को मंत्रणा का कारक माना गया है जो मनुष्य जीवन को प्रभावित करता है। कुंभ राशि में बृहस्पति के गोचर का, प्रेम, करियर, व्यवसाय या विवाह आदि क्षेत्रों पर क्या होगा असर? जानने के लिए पढ़ें।
नवग्रहों में से ग्रह बृहस्पति 20 नवंबर 2021 को कुंभ राशि में गोचर करने जा रहा है। बृहस्पति अपने गोचर के दौरान कुछ राशियों को सकारात्मक, नकारात्मक या तटस्थ तरीके से प्रभावित कर सकता है। कुंभ राशि वायु तत्व की तीसरी राशि है, इस राशि के लोग विद्रोही होते हैं, नियम तोड़ने वाले होते हैं। इसके विपरीत, बृहस्पति वृद्धि का ग्रह है जो इस राशि में 13 अप्रैल 2022 तक रहेगा। इस अवधि के दौरान लोगों के जीवन को प्रभावित करने वाले कुछ बदलाव हो सकते है।
जब बृहस्पति मकर राशि में था, उस समय इस राशि के लोगों में कार्य, व्यावहारिकता और समर्पण देखा गया था। जब यह कुम्भ राशि में गोचर करेगा उस समय ये स्वतंत्रता को चिन्हित करेगा जैसे, नियमों को तोड़ना और सांस्कृतिक मानदंडों के विपरीत काम करना आदि। यह 20 नवंबर 2021 के बाद आपके स्वभाव को बहुत प्रभावित करेगा।
कुंभ, मिथुन और तुला राशि पर सकारात्मक प्रभाव पड़ेगा, जबकि मेष और धनु राशि ने प्रभाव का समर्थन किया है। कर्क, कन्या, मकर और मीन जैसे राशियों को तनावपूर्ण समय का सामना करना पड़ सकता है जबकि वृषभ, सिंह और वृश्चिक के लिए ये अवधि संघर्षपूर्ण होगी, लेकिन यह विस्तार से संबंधित होगी। एस्ट्रो डी राणा से व्यक्तिगत भविष्यवाणी प्राप्त करने के लिए अभी कॉल करें।
गुरु आपके ग्यारहवें भाव में गोचर करेगा जो आपने लिए अच्छा समय हो सकता है।
बृहस्पति का गोचर आपके दसवें भाव में होगा। नीचे दिए गए परिवर्तनों के कारण चुनौतियों का सामना करना पड़ सकता हैं।
बृहस्पति का गोचर आपके नवम भाव में होगा। यह आपके लिए सहायक अवधि सिद्ध होगी।
बृहस्पति का गोचर आपके आठवें भाव में होगा। यदि भावनाओं की बात करें तो चीजों का त्याग करना होगा। इस समय आपको परेशानियों का सामना करना पड़ सकता है।
गुरु आपके सातवें भाव में गोचर करेगा। इस अवधि में रिलेशनशिप में उतार-चढ़ाव हो सकता है।
बृहस्पति का गोचर आपके छठे भाव में होगा। पेशेवर और धन के क्षेत्र में, आपको कई स्थितियों में समझौता करना होगा, जैसे:
आज का पंचांग ➔ आज की तिथि ➔ आज का चौघड़िया ➔ आज का राहु काल ➔ आज का शुभ योग ➔ आज के शुभ होरा मुहूर्त ➔ आज का नक्षत्र ➔ आज के करण
बृहस्पति का गोचर आपके पंचम भाव में होगा। लंबे समय बाद रिलेशनशिप में कुछ सहजता प्राप्त होगी।
गुरु आपके चतुर्थ भाव में गोचर करेगा। आप घर से अधिक जुड़ाव महसूस करेंगे, लेकिन यह उतना आसान नहीं होगा जितना लगता है, निम्नलिखित कारणों से:
गुरु आपके तीसरे भाव में गोचर करेगा। यह आपको निम्नलिखित तरीके से ओर अधिक आश्वस्त करेगा।
गुरु दूसरे भाव में गोचर करेगा। यह आपके जीवन में अनेक प्रकार से वित्तीय असंतुलन पैदा कर सकता है।
बृहस्पति का गोचर आपके लगन में होगा। इसका अर्थ है पहला घर। इस समय आपके आत्मविश्वास में वृद्धि होने की संभावना है।
गुरु आपके बारहवें भाव में गोचर करेगा। यह आपके अवचेतन को सकारात्मक या नकारात्मक रूप से प्रभावित करेगा।
आप बेचैनी अनुभव कर सकते हैं जिसके कारण आपकी नींद ख़राब हो सकती है।
✍️ By-एस्ट्रो डी राणा
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